माँ की यादें ............................
हर माँ की येही है कहानी
आँचल में दूध और आंखों में पानी ||
बहुत खूब तुम्हे आपनी माँ का त्याग
आज भी याद है
मुझको याद की अक्सर ऐसा होता था||
वह गर्मी की राते और बत्ती गुल
एक पंखा बिना रुके
उसके हाथो में चलता था
वो जागती सारी रात,
मैं उसकी नींदे सोता था ||
गर्मी की राते,
गुल बत्ती,
बिना रूके उसके हाथ में झलता पंखा,
.....................................मेरा भाग्य है
उसका जागना,
मेरा चैन से सोना,
उसकी नींद नहीं,
हर माँ की बीती रात है
मुझे आज भी याद है ||
मुझे याद है माँ वोह
बड़ा मुश्किल जमाना,
पिताजी का देर रात को
थका हुआ घर आना.
तुझे सारे दिन का दुखडा सुनाना
और तेरा उन्हें ढाढस बंधाना.......................
एक स्वेटर पुराना,
अभी भी मुझे बहुत प्यारा ............
हजारो धुलाई चुरा ना सकी,
उससे तेरे हाथो की खुशबु
वो स्वेटर बुनती ऐसे,
ख्वाब बुनती हो जैसे
दिन में पूरे मोहल्ले के स्वेटर बुनना..
जैसे फूलों का चुनना ,.....................
ख्वाबों का बुनना ..............................
और उसमे से मेरे इस ही
स्वेटर का चुनना ||
यह मेरी जिन्दगी का
सबसे प्यरा तोहफा है
धुल चूका हजारों बार,
फिर भी घना चौखा है ||
आज भी छुपके मैं,
बंद करके कमरा,
अलमारी खोलता हूँ
वोह तेरा बुना स्वेटर,
समेटे तेरे हाथों की खुशबू,
उसे बार बार सूंघता हूँ ||
इसे आज भी पहनता हूँ तो
" माँ" तेरी याद आती है
बंद कमरे से मैं अकेला नहीं
तेरी खुशबू भी साथ जाती है||
जब से तुझे देखा है माँ ,
मुझे भगवान भी भूल गए
तुने मुझे जन्म दिया ,
आज के झंझावात में हम
सभी शायद भूल गए
मै आज विश्व मातृदिवस पर
गौ माँ, भारत माँ,
धरती माँ को नमन करता हूँ |
व् समस्त मातृशक्ति को
सादर स्मरण करता हूँ ||